मारिषा n. दस प्रचेताओं की पत्नी, जो प्राचेतस दक्ष की माता थी
[म.आ.७०.५] । इसके पिता का नाम कण्डु ऋषि था, जिसे प्रम्लोचा नामक अप्सरा से यह उत्पन्न हुयी थी
[विष्णु.१.१५] ;
[भा.४.३०] । इसका जन्म होते ही, प्रम्लोचा अप्सरा ने इसे एक पेड के नीचे रख दिया, एवं वह स्वयं स्वर्ग चली गयी । इस समय यह भूख के मारे रोने लगी, तब सोम ने अपनी तर्जनी से अमृत पिला कर इसे पालपोस कर बडा किया ।
[विष्णु.१.१५] ;
[ब्रह्म.१७८] ;
[ह. वं.१.२] । जिस वृक्ष के नीचे यह थी, उसी वृक्ष के सहारे यह बडी हुयी । इसलिए इसे ‘वार्क्षी’ नामांतर प्राप्त हुआ
[भा.४.३०.४७] ;
[म.आ.१८८.१०] ।