हिंदी सूची|व्रत|मासिक व्रत परिचय|श्रावणके व्रत|श्रावण शुक्लपक्ष व्रत| श्रवणपूजन श्रावण शुक्लपक्ष व्रत दूर्वागणपति नागपञ्चमी पापनाशिनी सप्तमी दुर्गाव्रत शुक्लैकादशीव्रत पवित्रार्पणविधि दधिव्रत रक्षाबन्धन श्रवणपूजन ऋषितर्पण मङ्गला गौरीव्रत श्रावण शुक्लपक्ष व्रत - श्रवणपूजन व्रतसे ज्ञानशक्ति, विचारशक्ति, बुद्धि, श्रद्धा, मेधा, भक्ति तथा पवित्रताकी वृद्धि होती है । Tags : festivalmonthshravanvratमहिनाव्रतश्रावणसण श्रवणपूजन Translation - भाषांतर श्रवणपूजन ( व्रतोत्सव ) - श्रावण शुक्ल पूर्णिमाको नेत्रहीन माता -पिताका एकमात्र पुत्र श्रवण ( जो उनकी दिन - रात सेवा करता था ) एक बार रात्रिके समय जल लानेको गया । वहीं कहीं हिरणकी ताकमें दशरथजी छिपे थे । उन्होंने जलसे घड़ेके शब्दको पशुका शब्द समझकर बाण छोड़ दिया, जिससे श्रवणकी मृत्यु हो गयी । यह सुनकर उसके माता - पिता बहुत दुःखी हुए । तब दशरथजीने उनको आश्वासन दिया और अपने अज्ञानमें किये हुए अपराधकी क्षमा - याचना करके श्रावणीको श्रवणपूजाका सर्वत्र प्रचार किया । उस दिनसे सम्पूर्ण सनातनी श्रवणपूजा करते है और उक्त रक्षा सर्वप्रथम उसीको अर्पण करते हैं । N/A References : N/A Last Updated : January 21, 2009 Comments | अभिप्राय Comments written here will be public after appropriate moderation. Like us on Facebook to send us a private message. TOP